देवास। महात्मा गांधी जिला चिकित्सालय मे महिला सुरक्षा कर्मीयो गार्ड के साथ अश्लील बातें करने वाले ठेकेदार व सुपरवाइजर पर प्रशासन व जिला चिकित्सालय कार्यवाही करने में क्यों आनाकानी कर रहा है जहां महिला सुरक्षा कर्मी ही सुरक्षित नहीं है तो फिर वहां पर महिला मरीज कैसे सुरक्षित रह सकते है महिला सुरक्षाकर्मी गार्डो ने कलेक्टर, एसपी व जिला चिकित्सालय को शिकायत की थी पर आज दिनांक तक शिकायत पर कोई कार्यवाही नहीं हुई क्यो? सूत्रों के ज्ञात हुआ है कि महिला सुरक्षाकर्मियों को कार्यवाही रुकवाने का दबाव भी बनाया जा रहा है नौकरी से बंद करने का डर भी ठेकेदार व सुपरवाइजर द्वारा महिला सुरक्षा कर्मियों को बताया जा रहा है। जानकारी यह भी निकल कर आ रही है कि ठेकेदार द्वारा 30 से 40 कर्मचारियों का वेतन यहां से निकाला जा रहा है पर वास्तव में यहां पर 10 से 15 कर्मचारी ही कार्य कर रहे है जिनके साथ भी ठेकेदार का अत्याचार बढ़ता जा रहा है महज 5000 से 6000 की तनख्वाह वाले सुरक्षाकर्मी पर इतना दबाव की फोन पर ठेकेदार व सुपरवाइजर उनसे अश्लील बातें करें आखिर किसके दबाव में अभी तक नहीं हो पा रही इन पर कार्यवाही वही। सूत्रों से ज्ञात हुआ है कि इस संबंध में अस्पताल के सिविल सर्जन से बात करना चाहिए तो पहले तो उन्होने बात करने से इंकार कर दिया फिर कहने लगे की इस प्रकार कि छोटी मोटी छेड़छाड़ होती रहती है मेरे पास बहुत काम है ऐसी छेड़छाड़ पर मैं ध्यान नहीं देता यह तो रोज का काम है जिला चिकित्सालय में कार्यवाही केवल कागज पर वह नोटिस बोर्ड पर ही दिखाई जाती है कमीशनखोरी व रिश्वतखोरी का अड्डा बन चुका महात्मा गांधी जिला चिकित्सालय आए दिन गायनिक वार्ड से अवैध वसूली की शिकायतें आती रहती है
Friday, 1 January 2021
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Dewas - आखिर क्यों नहीं सुनी जा रही है MG हॉस्पिटल की महिला सुरक्षाकर्मीयो की फरियाद? | Kosar Express
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