देवास। कलेक्टर एवं पुलिस अधीक्षक द्वारा भेजे गए प्रतिवेदन पर देवास के ईदगाह रोड़ निवासी महमूद शेख को जिलाबदर का सूचना पत्र भेजा गया। मेहमूद शेख के विरूद्ध 15 से अधिक अपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध है। इनमें से अधिकांश मामलों में मेहमूद शेख दोषमुक्त हो चुके है। मेहमूद शेख के द्वारा अपने अधिवक्ता हितेश शर्मा के माध्यम से मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय खण्डपीठ इंदौर के समक्ष कलेक्टर के द्वारा भेजे गए नोटिस को इस आधार पर चुनौती दी गई थी कि कलेक्टर द्वारा पूर्व में भी इन्हीं अपराधों के संज्ञान में लेते हुए मेहमूद के विरूद्ध जिलाबदर की कार्यवाही की गई थी। जिसे उच्च न्यायालय ने अवैध ठहराते हुए निरस्त कर दिया था। जिसके पश्चात मेहमूद शेख के द्वारा मप्र मानव अधिकार आयोग के समक्ष कोतवाली थाने के पुलिसकर्मियों व अधिकारियों की शिकायत की थी। जिसके पश्चात मेहमूद शेख पर कलेक्टर द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत प्रकरण दर्ज कर उसे जेल भेज दिया गया था। उक्त आदेश को भी जबलपुर स्थित एडवाईजरी बोर्ड द्वारा 3 जजों की पीठ ने मार्च 2020 में निरस्त कर दिया था। उपरोक्त प्रकरण में दिनांक 27.11.2020 को हुई सुनवाई में उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति विवेक रूसीया द्वारा प्रकरण में अतिरिक्त महाधिवक्ता को कोर्ट में बुलाकर देवास कलेक्टर से स्पष्टीकरण मांगा गया है और प्रकरण की आगामी सुनवाई दिनांक 2 दिसंबर 2020 को नियत की गई है।
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