चित्रकूट/झांसी/उत्तरप्रदेश। जिले में एक सरकारी कर्मचारी ने अपने देर से कार्यालय पहुंचने का ऐसा कारण बताया है कि मामला सुर्ख़ियों में आ गया है। मामला जनपद के डिप्टी कमिश्नर वाणिज्य कर कार्यालय का है जहां आशु लिपिक के पद पर कार्यरत अशोक कुमार नाम के कर्मचारी से विगत 18 अगस्त को कार्यालय में समय से उपस्थित न होने को लेकर डिप्टी कमिश्नर वाणिज्यकर एम एस वर्मा द्वारा स्पष्टीकरण मांगा गया और उसी दिन शाम तक जवाब देने की समय सीमा निर्धारित की गई।
नोटिस का यह जवाब दिया क्लर्क ने
स्पष्टीकरण के पत्र में अधिकारी द्वारा आशु लिपिक अशोक कुमार से पूछा गया कि वे कार्यालय में निर्धारित समय 10:15 बजे तक उपस्थित क्यों नहीं हुए जबकि उनका अवकाश सम्बंधी कोई प्रार्थना पत्र भी नहीं उपलब्ध है। क्यों ना उनके खिलाफ कार्रवाई की जाए और इसका जवाब वे 18 की शाम तक अवश्य दें। लेटर के जबाव में कर्मचारी ने लिखा, 'साहब पत्नी की तबियत खराब रहती है सो खाना मुझे ही बनाना पड़ता है, उसका बदन दर्द करता है तो हाथ पैर दबाने पड़ते हैं।
रोटी थोड़ा संभल नहीं पा रही है, पत्नी गुस्सा हो जाती है
कर्मचारी ने और आगे अपनी व्यथा बताते हुए लिखा कि क्योंकि रोटी थोड़ा संभल नहीं पा रही है बचाओ तो जल जाती है जिस पर पत्नी गुस्सा हो जाती है। आज कल मैं दलिया बनाकर खा रहा हूं। कर्मचारी ने सिस्टम को भी घेरते हुए लिखा कि रोड बहुत खराब है जाम के कारण देर से पहुंच पाता हूं। उक्त कर्मचारी ने अपने अधिकारी से अनुरोध किया कि सुबह वह पत्नी की सेवा जल्दी करके अब कार्यालय के लिए निकलेगा बाकी आप खुद समझदार हैं।
कर्मचारी ने और आगे अपनी व्यथा बताते हुए लिखा कि क्योंकि रोटी थोड़ा संभल नहीं पा रही है बचाओ तो जल जाती है जिस पर पत्नी गुस्सा हो जाती है। आज कल मैं दलिया बनाकर खा रहा हूं। कर्मचारी ने सिस्टम को भी घेरते हुए लिखा कि रोड बहुत खराब है जाम के कारण देर से पहुंच पाता हूं। उक्त कर्मचारी ने अपने अधिकारी से अनुरोध किया कि सुबह वह पत्नी की सेवा जल्दी करके अब कार्यालय के लिए निकलेगा बाकी आप खुद समझदार हैं।
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