एक भोजन के और नाश्ते के पैकेट देकर पांच से दस तक फोटो निकलवाने वाले लोग अवसर का पूरा फायदा उठा रहे है, अपनी राजनीति चमका रहे हैं। कोरोना संक्रमण काल में सरकार, प्रशासन, पुलिस तथा समाजसेवी अपनी-अपनी भूमिका निभा रहे हैं, जनता भी लॉक डाउन का पालन कर रही है तथा कठिनाइयों में अपना जीवन गुजार रही है। इस कठिन समय व परीक्षा की घड़ी में भी कुछ लोग समाज सेवा के नाम पर परेशानहाल जनता को भोजन-राशन देकर लेने वाले का फोटो उतरवा रहे हैं और गरीब-जरूरतमंदों का मजाक उड़ा रहे हैं। फोटो बाजी में समाजसेवी तो समाजसेवी पुलिस और प्रशासन भी पीछे नही है। कांग्रेस भाजपा के नेता भी फोटो लेकर प्रचार करने के लालच से दानवीर बने हुए हैं। राशन-भोजन लेने वालों को शर्म आ रही है लेकिन देने वाले बे-शर्मी से फोटो लेकर प्रचार में मस्त हैं। मुसलमानों के सबसे पवित्र-पाकीजा और श्रेष्ठ महीने रमजान में एक नेकी (पुण्य) का बदला 70 नेकी के रूप में मिलता हैं। इस्लाम और कुरान का निर्देश है कि नेकी, मदद, सहयोग कीजिए लेकिन उसका प्रचार मत करिये। जिसकी मदद करो उसके चेहरे की तरफ भी मत देखो इसके बाद भी मुस्लिम समाज के ही कुछ आम और खास लोग पवित्र माह में भी राशन के पैकेट देते हुए महिलाओं तथा बच्चियों के साथ फोटो निकलवा कर फेसबुक सहित व्हाट्सएप ग्रुप पर डाल रहे हैं। सेवा, सहयोग तथा सहानुभूति के समय फोटोबाजी, घटिया प्रचार से इंसानियत तथा धर्म दोनों शर्मिंदा हो रहे हैं। समय निकल रहा है किंतु अनेक चेहरों से समाजसेवी तथा रक्षक का मुखौटा भी उतारता जा रहा हैं।
एक भोजन के और नाश्ते के पैकेट देकर पांच से दस तक फोटो निकलवाने वाले लोग अवसर का पूरा फायदा उठा रहे है, अपनी राजनीति चमका रहे हैं। कोरोना संक्रमण काल में सरकार, प्रशासन, पुलिस तथा समाजसेवी अपनी-अपनी भूमिका निभा रहे हैं, जनता भी लॉक डाउन का पालन कर रही है तथा कठिनाइयों में अपना जीवन गुजार रही है। इस कठिन समय व परीक्षा की घड़ी में भी कुछ लोग समाज सेवा के नाम पर परेशानहाल जनता को भोजन-राशन देकर लेने वाले का फोटो उतरवा रहे हैं और गरीब-जरूरतमंदों का मजाक उड़ा रहे हैं। फोटो बाजी में समाजसेवी तो समाजसेवी पुलिस और प्रशासन भी पीछे नही है। कांग्रेस भाजपा के नेता भी फोटो लेकर प्रचार करने के लालच से दानवीर बने हुए हैं। राशन-भोजन लेने वालों को शर्म आ रही है लेकिन देने वाले बे-शर्मी से फोटो लेकर प्रचार में मस्त हैं। मुसलमानों के सबसे पवित्र-पाकीजा और श्रेष्ठ महीने रमजान में एक नेकी (पुण्य) का बदला 70 नेकी के रूप में मिलता हैं। इस्लाम और कुरान का निर्देश है कि नेकी, मदद, सहयोग कीजिए लेकिन उसका प्रचार मत करिये। जिसकी मदद करो उसके चेहरे की तरफ भी मत देखो इसके बाद भी मुस्लिम समाज के ही कुछ आम और खास लोग पवित्र माह में भी राशन के पैकेट देते हुए महिलाओं तथा बच्चियों के साथ फोटो निकलवा कर फेसबुक सहित व्हाट्सएप ग्रुप पर डाल रहे हैं। सेवा, सहयोग तथा सहानुभूति के समय फोटोबाजी, घटिया प्रचार से इंसानियत तथा धर्म दोनों शर्मिंदा हो रहे हैं। समय निकल रहा है किंतु अनेक चेहरों से समाजसेवी तथा रक्षक का मुखौटा भी उतारता जा रहा हैं।
ऐसा नही करना चाहिए
ReplyDeleteसही लिखा है अपने
Jo log niswaarth kaam karrahe hai unke baare me bhi kabhi kuch news chaap dia kro....janta curfew se le kr aaj dinaank tak log seva karrahe hai....unhe protsahan mile esi news dalo...har baar samaaj ko nicha dikhane ki hi news chaapte ho.
ReplyDeleteSamaj ko niche nahi dikha rahe h... hakikat baya kar rahe h.. shayad ye pad ke jo ye sub kar rahe h wo apni galti sudhar le.. ha ye baat bhi sahi h aapki jo bina kisi photo baji ke kaam kar rahe h sirf aur sirf unki sanstha ka naam le kar aap unko aur majboot kar sakte h.. jis se u ka hosla badega
ReplyDeleteदेवास आई लव माय देवास यहा सभी धरमाे के लाेग आपस मे मिलजुल कर रहते हे हमारी राज माता भी बहुत अचछी हे सभी धरमाे के लाेग उनका कहना मानते हे वहब
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